एक विश्लेषण बनवास से वास की यात्रा का
भाजपा के जीत के कई कारण हैं जिसमे से प्रमुख कारण दूसरे दलों से जनता का मोहभंग तथा परम्परागत
वोटों का अपने दलों से बिखराव। दूसरा कारण संघ तथा भाजपा के कार्यकर्त्ता का जनता से ज़मीनी जुड़ाव एवं अंतर्कलह पर नियंत्रण। दूसरे दलों की बात करे तो इनकी पराजय का मुख्य कारण परंपरागत वोटों का बिखराव तथा रणनीतिक चूक है। समाजवादी पार्टी की पारिवारिक कलह भी पराजय की पृष्ठभूमि के रूप में देखी जानी चाहिए जिसके परिणामस्वरूप समाजवादी पार्टी की बहु अपर्णा यादव भी अपनी सीट भी नई बचा सकी। इसमें संदेह नहीं कि समाजवादी पार्टी ने विकास नहीं किया विकास तो हुआ पर दिखा नहीं। बसपा की यदि बात करें तो जनता जिस तरह बसपा को नकारती जा रही है यह प्रतीक है इस बात का की दशकों की राजनीति या सत्ता में भागीदारी के उपरांत अपने समाज की अपेक्षित आवश्यकताओं या सम्पूर्ण भागीदारी पर खरा न उतारना है। जिसके कारण दलित वोटों ने बीजेपी से उम्मीद लगा लिया साथ ही अन्य पिछड़ा वर्ग का एक बड़ा हिस्सा बीजेपी के साथ हो लिया।
वोटों का अपने दलों से बिखराव। दूसरा कारण संघ तथा भाजपा के कार्यकर्त्ता का जनता से ज़मीनी जुड़ाव एवं अंतर्कलह पर नियंत्रण। दूसरे दलों की बात करे तो इनकी पराजय का मुख्य कारण परंपरागत वोटों का बिखराव तथा रणनीतिक चूक है। समाजवादी पार्टी की पारिवारिक कलह भी पराजय की पृष्ठभूमि के रूप में देखी जानी चाहिए जिसके परिणामस्वरूप समाजवादी पार्टी की बहु अपर्णा यादव भी अपनी सीट भी नई बचा सकी। इसमें संदेह नहीं कि समाजवादी पार्टी ने विकास नहीं किया विकास तो हुआ पर दिखा नहीं। बसपा की यदि बात करें तो जनता जिस तरह बसपा को नकारती जा रही है यह प्रतीक है इस बात का की दशकों की राजनीति या सत्ता में भागीदारी के उपरांत अपने समाज की अपेक्षित आवश्यकताओं या सम्पूर्ण भागीदारी पर खरा न उतारना है। जिसके कारण दलित वोटों ने बीजेपी से उम्मीद लगा लिया साथ ही अन्य पिछड़ा वर्ग का एक बड़ा हिस्सा बीजेपी के साथ हो लिया।
यह सत्य है कि कांग्रेस ने यूपी, उत्तराखंड में जनादेश खोने के बावजूद पंजाब,गोवा तथा मणिपुर में संतोषजनक प्रदर्शन किया जिस पे कांग्रेस खुश तो नहीं हो सकती लेकिन दिल बहलाने के लिए आंकड़े अच्छे हैं। लेकिन क्या कांग्रेस यूपी उत्तराखंड से सीख लेगी? ये तो समय बताएगा किन्तु बदलाव एवं परिवर्तन की मांग उठने लगी है। कांग्रेस के लिए यही अच्छा होगा कि यूपी, उत्तराखंड से सीखे और पार्टी के दम तोड़ रहे नेतृत्व को धार दे इससे पूर्व की इतिहास के काल में समा जाये।
Congress never dies..hope so..but many lessons to learn from defeats.. In up n uttarkhand..these states..r populous..win there matter alot..but congress put good start in other states.. Up..is influenced by modi's charm..because.. Upites need change from
ReplyDelete27 years's same government..same in Punjab.. Citizens r revolting against present governance ..
Congress never dies..hope so..but many lessons to learn from defeats.. In up n uttarkhand..these states..r populous..win there matter alot..but congress put good start in other states.. Up..is influenced by modi's charm..because.. Upites need change from
ReplyDelete27 years's same government..same in Punjab.. Citizens r revolting against present governance ..
Bjp surf ek option thi .jsnta need change.. So majority voted for bjp
ReplyDeleteBjp surf ek option thi .jsnta need change.. So majority voted for bjp
ReplyDeleteAb jo bhi kha jaye lekin ek baat such hai k bjp ne zamini mehnat bht ki or unko mehnat ka nateeja mila
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